महिला सशक्तिकरण की दिशा मेे इंदौर के सयोगितागंज थाना प्रभारी सतीश पटेल की अनुठी पहल टी.आई हमारा भाई अभियान
इंदौर की 17 हजार महिलाओ से बंधवाते है हर साल राखी ...टीआईभैया सतीष पटेल के इस नवाचार को वर्ल्ड बुक ऑफ रिकॉर्ड ने भी किया सम्मानित

जनदर्शन न्यूज इंदौर ! संयोगितागंज टीआई सतीश पटेल विभाग में टीआई भैया के नाम से चर्चित हैं। वे बताते हैं शहर में साढ़े 3 साल की नौकरी में 2 हजार बहनों के नेटवर्क से 100 से ज्यादा आपराधिक मामलेए लॉ एंड ऑर्डर की स्थिति और अपराधियों की धरपकड़ की है। बहनें विश्वास कर उन्हें मोहल्ले व बस्तियों में होने वाली हर अप्रिय घटनाए नशाखोरी करने वालेए लूटपाटए चोरी करने वाले और छेड़छाड़ करने वालों की जानकारी देती हैं। इससे वे आसानी से अपराधों पर नियंत्रण कर पाते हैं।। 8 साल की नौकरी में ये 16 हजार बहनों से राखी ;रक्षासूत्र बंधवा चुके हैं। रक्षाबंधन पर राखी बंधवाने के साथ ही बहनों से प्रण लेते हैं कि उन्हें जब भी किसी आपराधिक गतिविधि का अंदेशा हो वे तत्काल इन्हें सूचित करें। बहनें भी यह फर्ज बखूबी निभा रही हैं। भाई.बहन के इस मिले.जुले प्रयास से सिर्फ इंदौर में ही ये 100 से ज्यादा अपराधों पर नियंत्रण लगा चुके हैं।
इसके साथ ही पुलिस थाना हीरानगर द्वारा महिलाओं के घर बचाने के लिए एक अनोखी मुहिम परिवार तोड़ो मत जोड़ो की शुरुआत की है जिसके तहत थाना प्रभारी द्वारा स्वयं महिला पुलिस टीम के साथ मिलकर काउंसलिंग करवाई जाती थीए जिसका असर ये हुआ कि कई परिवारों को टूटने से बचाया गया। साथ ही थाना हीरानगर क्षेत्र में नशे एवं अपराधों पर अंकुश लगाने और सामुदायिक पुलिसिंग के लिए थाना क्षेत्र में जगह.जगह पुलिस का रहवासियों द्वारा सम्मान किया गया।
गणतंत्र दिवस के अवसर पर मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान द्वारा भी नशे के खिलाफ चलाई जा रही मुहिम के लिए भी थाना प्रभारी को सम्मानित किया जा चुका है। उन्होंने युवाओं और नाबालिकों को नशे की लत से दूर रखने के लिए थाना प्रभारी हीरानगर ने अपने स्टाफ के साथ मिलकर नुक्कड़ नाटक एवं सभाओं के माध्यम से नशे के खिलाफ एक विशेष अभियान श्नशे को कहे ना.नाश् की शुरुआत की है।
उत्तरप्रदेश पुलिस ने भी अपनाया यह तरीका
वर्ष 2016 में सोशल मीडिया पर रक्षाबंधन के वीडियो को देख वर्ष 2018 में यूपी पुलिस ने थाने में क्षेत्रों की बहनों को बुलाकर टीआई व पुलिसकर्मियों से रक्षा के वचन दिलवाए और इसे ह्यूमन इंटेलिजेंस व सामुदायिक पुलिसिंग को डेवलप करने का अच्छा प्रयोग माना। है।